‘महायुति ने मंत्रिमंडल बैठक पर खर्च कर दिए 150 करोड़ रुपये’, महाराष्ट्र कांग्रेस का आरोप

👇समाचार सुनने के लिए यहां क्लिक करें

कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाल ने राज्य में सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन पर मंगलवार को तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि अहिल्यानगर जिले में मंत्रिमंडल बैठक की तैयारियों पर 150 करोड़ रुपये खर्च किए गए।

हालांकि, भाजपा नीत महायुति सरकार ने आरोपों को खारिज करते हुए सफाई दी। उसने कहा कि प्रस्तावित मंत्रिमंडल बैठक के लिए 1.5 करोड़ रुपये के कार्यों के टेंडर के लिए विज्ञापन दिया था, लेकिन इसमें उक्त राशि गलती से 150 करोड़ रुपये प्रकाशित हो गई। सपकाल ने एक्स पर एक पोस्ट में अखबारों में प्रकाशित टेंडर नोटिस साझा की। इसमें कहा गया था कि बैठक के लिए मंडप, मंच, विश्राम कक्ष, शौचालय, अवरोधक, ध्वनि प्रणाली, एयर कंडीशनर, बिजली, अग्निशमन उपाय और सीसीटीवी की व्यवस्था पर 150 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। नोटिस में कहा गया है कि 24 अप्रैल को ई-निविदा जारी की जाएगी।

महाराष्ट्र के चोंदी में 29 अप्रैल को राज्य मंत्रिमंडल की बैठक होनी है, जो 18वीं शताब्दी की महान रानी अहिल्याबाई होल्कर की जन्मस्थली है। राज्य में अहिल्याबाई की 300वीं जयंती मनाई जा रही है। पिछले साल, अहिल्याबाई के सम्मान में पश्चिमी महाराष्ट्र के अहमदनगर जिले का नाम बदलकर अहिल्यानगर कर दिया गया था। कांग्रेस नेता ने पोस्ट में दावा किया कि सरकार ने कहा था कि राज्य वित्तीय संकट में है। उन्होंने इस बात को रेखांकित किया कि महायुति सरकार ने वरिष्ठ नागरिकों के लिए तीर्थ यात्रा योजना बंद कर दी है। पिछले साल विधानसभा चुनावों के दौरान किए गए वादे के अनुसार महिलाओं के लिए लाडकी बहिन योजना के तहत वित्तीय सहायता राशि में बढ़ोतरी नहीं की है। साथ ही, कृषि ऋण माफ करने से इनकार कर दिया है।

कांग्रेस ने सत्ताधारी गठबंधन पर साधा निशाना

हर्षवर्धन सपकाल ने लिखा, ‘चोंदी में होने वाली मंत्रिमंडल बैठक के लिए मंडप निर्माण और अन्य व्यवस्थाओं पर 150 करोड़ रुपये बर्बाद किए जा रहे हैं।’ उन्होंने आरोप लगाया कि पिछले हफ्ते जब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह रायगढ़ में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी नेता सुनील तटकरे के घर गए थे, तब हेलीपैड बनाने पर 1.5 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ‘सरकार में बैठे ताकतवर लोग पांच सितारा सुविधाओं का लुत्फ उठा रहे हैं, जिससे जनता आर्थिक कठिनाई में है।’ वहीं, राज्य सरकार ने एक आधिकारिक बयान में स्पष्ट किया कि विज्ञापन प्रस्तावित मंत्रिमंडल बैठक के लिए 1.5 करोड़ रुपये के कार्यों से संबंधित था, लेकिन इसमें आंकड़ा गलती से 150 करोड़ रुपये छप गया था। लोक निर्माण विभाग (PWD) ने कहा कि विज्ञापन के लिए जारी आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया था कि यह 1.5 करोड़ रुपये का है।

आरोपों पर क्या आया जवाब

महाराष्ट्र के राजस्व मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने टेंडर मुद्दे पर सपकाल की ओर से सरकार की आलोचना को बचकाना करार दिया। बावनकुले ने कहा, ‘लोक निर्माण विभाग, अहिल्यानगर ने चोंदी में प्रस्तावित मंत्रिमंडल बैठक के लिए 21 अप्रैल को एक विज्ञापन प्रकाशित किया। इस विज्ञापन के लिए जारी आदेश में यह स्पष्ट रूप से कहा गया कि इसकी कीमत 1.5 करोड़ रुपये है।’ उन्होंने कहा कि यह आदेश दो अखबारों में प्रकाशित किया गया था, लेकिन उनमें से एक ने इसकी राशि को गलत रूप में छापा था। सपकाल ने बावनकुले पर पलटवार करते हुए कहा, ‘मैं मानता हूं कि चूंकि आप राजनीति में बहुत वरिष्ठ हैं, इसलिए आप आंकड़े पढ़ सकते हैं। किसी अखबार की बचकानी आलोचना करने के बजाय जनसंपर्क विभाग से जानकारी प्राप्त करें। विभाग ने स्वीकार किया है कि उससे अनजाने में गलती हुई है।’

और पढ़ें

  • Buzz4 Ai
  • Ai / Market My Stique Ai
  • Buzz Open / Ai Website / Ai Tool